अबतक इंडिया न्यूज 5 जून । आज ज्येष्ठ माह शुक्ल पक्ष एकादशी तिथि, दिवस शुक्रवार है। ज्येष्ठ निर्जला एकादशी व्रत रहे।आज भगवान विष्णु जी की पूजा बहुत ही पुण्यदायी होती है। श्री कृष्ण उपासना करें। श्री विष्णुसहस्रनाम का पाठ करें। विष्णु मंदिर परिसर में पाकड़, गूलर पीपल, बेल व आम सहित कुछ वृक्षारोपण करें, इस महान कृत्य से पापों का शमन होता है। जल भरा घड़ा व फलों का दान करना बहुत फलित होता है ।मन का निर्मल व सात्विक होना बहुत ही आवश्यक है। घर की छत पर विहंगों को दाना -पानी दें। गौ शाला जाएं, वहां गौ माता को रोटी, गुड़, चारा, पालक इत्यादि खिलाने से अखण्ड पुण्य की प्राप्ति होती है। भगवान विष्णु मंदिर जाएं व उनके विग्रह की 04 परिक्रमा करें। श्री सूक्त का पाठ करें। भगवान श्री कृष्ण नाम का संकीर्तन करें। बड़ो, बुजुर्गों, संतों व माता -पिता का चरण स्पर्श कर आशीर्वाद लें। मस्तक पर हल्दी व पीला चंदन का तिलक लगाएं। एकादशी को खूब दान -पुण्य व तीर्थ करें। एकादशी महान व्रत है।
निर्जला एकादशी मुहूर्त 2025
चर – सामान्य – 05:23 से 07:07
लाभ – उन्नति – 07:07 से 08:51
अमृत – सर्वोत्तम – 08:51 से 10:36
एकादशी का पंचांग 6 जून 2025
संवत— विक्रम संवत 2082
माह-ज्येष्ठ,शुक्ल पक्ष
तिथि – एकादशी।एकादशी तिथि आज ही मान्य होगी।
पर्व- निर्जला एकादशी व्रत
दिवस -शुक्रवार
सूर्योदय- 05:23 am
सूर्यास्त-7:17 pm
नक्षत्र- हस्त 06:35 am तक फिर चित्रा
चन्द्र राशि- कन्या राशि
सूर्य राशि- वृष
करण- वणिज 04 :26 pm तक फिर विष्टि
योग- व्यतिपात 10:11 am तक तत्पश्चात वरियान
6 जून 2025 शुभ मुहूर्त
अभिजीत-11:52 am से 12:48 pm तक
विजय मुहूर्त-02:21pm से 03:28pm तक
गोधुली मुहूर्त–06:24pm से 07:23pm तक
ब्रम्ह मुहूर्त-4:09m से 05:07am तक
अमृत काल-06:04am से 07:45am तक
निशीथ काल मुहूर्त-रात्रि 11:43से 12:24तक रात
संध्या पूजन-06:21pm से 07:03pm तक
दिशा शूल- पश्चिम दिशा। इस दिशा में यात्रा से बचें। दिशाशूल के दिन उस दिशा की यात्रा करने से बचते हैं, यदि आवश्यक है तो एक दिन पहले प्रस्थान निकालकर फिर उसको लेकर यात्रा करें।
अशुभ मुहूर्त–राहुकाल-प्रातःकाल 10:30 बजे से दोपहर 12 बजे तक